सरकार द्वरा किसानो को न्यूनतम समर्थन मूल्य दिलाने के लिए बड़ी बड़ी घोषणाये की गयी ,किसानो की फसल खरीदने के सरकार द्वरा मंडी का निर्माण किया गया है जहाँ जा कर वो अपनी उपज को बेच सकते है जि कृषि उत्पादन मंडी समित के लिए सरकार द्वरा APMC ACT 2003 लागू किया गया जिसके माध्यम से किसानो को उनकी उपज का न्यूनतम समर्थन मूल्य दिलाना था और इसका मुख्य उद्देश किसानो को बिचौलियो से बचाना है इसके लिए मंडी में अनेक सुविधाये दी गयी जिसमे नीलामी चबूतरा ,कृषक गोदाम ,कृषक विश्राम गृह
सरकार द्वरा सन 2018 का गेहू का न्यूनतम समर्थन मूल्य 1735रूपये प्रति कुन्तल निर्धारित किया गया है जिसे सरकारी क्रय केन्द्रों के माध्यम से ख़रीदा जाना है ,उत्तर प्रदेश के किसानो के द्वरा देश का 34 प्रतिसत गेहूं लगभग 96 लाख हेक्टेयर में 300 लाख मी टन उत्पाद किया जाता है जिसमे से सरकार द्वरा सिर्फ 50 लाख मीट्रिक टन खरीद का लक्ष्य रखा गया है उसके हिसाब से किसान को 1735 रूपये मिलना चाहिए जबकि बाजार भाव 1550 रूपये के हिसाब मिल रहा है इस प्रकार से 185 रूपये प्रति कुंतल के हिसाब से किसानो को घाटा हो रहा है इस हिसाब से सिर्फ उत्तर प्रदेश में 185X 250000000= 4625000000 छियालीस अरब पच्चीस करोंड़ रूपये का नुकसान किसानो को हो रहा है
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